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Showing posts from February, 2022

किताबों का फ़ितूर

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"बहुत समय के बाद मुझे हिंदी की किताबों में पुराने वाले मज़े आ रहे हैं," हर्ष (बदला हुआ नाम) कक्षा 5 का विद्यार्थी है जो शुरूआती दिनों से स्पर्श शिक्षा केंद्र में आ रहा है. शुरुआती दिनों में उसके कक्षा में हो रहे कामों के अरुचि थी जोकि लगभग हर उस बच्चे के लिए प्राकृतिक थी जो गत 2 साल से स्कूल और पढ़ाई से एकदम कट चुका था.  जब बैजनाथ शिक्षा केंद्र में स्पर्श लीडर चंचल ने प्रथम बुक्स की किताबों की एक लाइब्रेरी बनाई और हर सप्ताह 4 दिन पढ़ने के लिए निश्चित हुए तो हर्ष भी उन बच्चों में शामिल था जो गाहे-बगाहे थोड़ा बहुत पढ़ लेते थे. धीरे धीरे हर्ष अपने मन से पढ़ने के लिए अधिक समय देने लगा और हर रोज़ हिंदी की एक किताब उसके संग उसके घर तक का सफ़र करने लगी. इस महीने के दुसरे सप्ताह तक हर्ष ने शिक्षा केंद्र की लाइब्रेरी में रखी हिंदी की तमाम किताबें पढ़ डाली हैं और अब चंचल के सामने एक लक्ष्य है कि वह हर्ष के लिए आगे का रास्ता तय करने में उसका साथ निभाये. हमें ऐसी लाइब्रेरी के लिए और हर्ष जैसे सैंकड़ों बच्चों के लिए किताबें चाहिए! हमें सहयोग करें: https://bit.ly/3pbDZRn 

शिक्षा यात्रा और अपनों का सहयोग

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सोहन [दायीं ओर] (बदला हुआ नाम) कक्षा 5 का छात्र है जो शुरुआती दिनों से हमारे स्पर्श शिक्षा केन्द्र का विद्यार्थी है। हमारी स्पर्श लीडर तृप्ति कहती हैं कि शुरुआत में सोहन को इंग्लिश के अल्फबेट्स आदि पढ़ने/पहचानने में मुश्किल आती थी और उसका मन भी कम लगता था।  बीते सप्ताह से सोहन अंग्रेज़ी के छोटे छोटे शब्दों को पढ़ने में लगा हुआ है और अब ख़ुद से अपना नाम भी लिख लेता है। मज़ेदार बात यह है इसमें सोहन के पिताजी उसकी मदद कर रहे हैं कि कैसे वह फोनिक साउंड सीख पाए और अंग्रेज़ी पढ़ना सीख सके! हम चाहते हैं कि जिस तरह सोहन के पिता ने उसकी शिक्षा यात्रा में सहयोग करके उससे जुड़ने का काम शुरू किया है। वैसे स्पर्श कक्षा का हर बच्चा अपने माता-पिता को शिक्षा से जोड़ सके और वे अपने बच्चों को सहयोग कर सकें। सोहन जैसे 350 से अधिक बच्चों की शिक्षा यात्रा में आप सहयोग कर सकते हैं: 9993164658@okbizaxis

संग और शिक्षा की यात्रा!

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"दुनिया की सबसे बड़ी ज़रूरतों में शुमार हैं शिक्षित बच्चे और आनंदमयी बचपन!" राधा और रोहिणी कक्षा 5 की दो लड़कियाँ हैं जो हमारे स्पर्श सामुदायिक शिक्षा केन्द्र की नियमित विद्यार्थी हैं। वे अक्सर एक-दूजे के साथ देखी जा सकती हैं; खेल में, आने जाने में और पढ़ने में भी। दोनों एक दूसरे की सीखने की यात्रा में भरपूर सहयोग करती हैं। हाल ही में उन्होंने अंग्रेज़ी की किताब पढ़ना सीखा है वे इस नए अनुभव को बड़े मज़े से जी रही हैं। साथ साथ बड़े उत्साह से पढ़ती हैं और कहानियों का अर्थ बनाने की कोशिशें करती हैं।  बैजनाथ केंद्र का नेतृत्व कर रही हमारी एजुकेशन लीडर चंचल का कहना है कि जितना उत्साह इनको खेलने और मस्ती करने के लिए है उतना ही सीखने और एक-दूसरे के साथ मिल आगे बढ़ने के लिए भी है। हमारी सारी कोशिश है कि हम अपने सभी शिक्षा केन्द्र में बच्चों के सीखने के लिए ख़ुशनुमा माहौल बना सकें और उनके बचपन को आज़ाद और आनंदमयी होने में एक रत्ती का सहयोग कर सकें। हम शिक्षा केंद्र के लिए किताबें जुटा रहे हैं आप हमें उसके लिए सहयोग कर सकते हैं: https://donateabook.org.in/campaign/meragaonmeridunia/